गिलगित-बाल्टिस्तान पर पाकिस्तान कोर्ट के निर्णय पर भारत ने सुनाई खरी-खरी

India objected to Pakistan court's decision on Gilgit Baltistan
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पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट ने गिलगित-बाल्टस्तान में आम चुनाव कराने के लिए 2018 के गवर्नमेंट ऑफ गिलगित बाल्टिस्तान आर्डर में संशोधन की इजाजत दी थी। इस पर भारत ने कड़ी आपत्ति जताई है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि गिलगित बाल्टिस्तान सहित पूरा जम्मू कश्मीर व लद्दाख भारत का अभिन्न अंग है। ‌ इन क्षेत्रों पर पाकिस्तान का अवैध कब्जा है और पाक को इन्हें तुरंत मुक्त कर देना चाहिए।

भारत ने पाकिस्तान के वरिष्ठ राजनयिक को इस विषय में आपत्ति पत्र जारी कर दिया है। जिसमें कहा गया है कि जम्मू कश्मीर सहित लद्दाख और लद्दाख के अंदर गिलगित-बाल्टिस्तान भी भारत का ही अभिन्न अंग है। इसलिए पाकिस्तान सरकार और न्यायपालिका को भारत के इन क्षेत्रों पर हस्तक्षेप करने का अधिकार नहीं है। पाकिस्तान ने कुछ हिस्से को अवैध तरीके से कब्जा किया हुआ है। इसमें बदलाव लाने के लिए जो प्रयास किए जा रहे हैं, उस पर भारत आपत्ति जताता है।

बता दें 1947 तक गिलगित बाल्टिस्तान जम्मू कश्मीर का हिस्सा था। जम्मू कश्मीर के राजा हरि सिंह ने 31 अक्टूबर 1947 को राज्य को भारत में विलय की मंजूरी दे दी थी। लेकिन 21 दिन बाद पाकिस्तान ने इस पर अवैध कब्जा कर लिया। तभी से पाकिस्तान इसको अपना हिस्सा बताता है और अब पाकिस्तान गिलगित-बाल्टिस्तान को अपना पांचवा राज्य बनाने की तैयारी में लगा हुआ है। इसी के तहत पाकिस्तान आम चुनाव कराने की तैयारी में है। लेकिन भारत ने इस पर सख्त आपत्ति जताई है।

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