आज बुधवार को हाई कोर्ट में दिल्ली के अलग-अलग क्षेत्रों में हुए हिंसक प्रदर्शन को लेकर सुनवाई हुई। हाई कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को फटकार लगायी व कहा की हम इस देश में एक और 1984 नहीं होने दे सकते। बता दें 1984 में सिख दंगे हुए थे और इसमें सैकड़ों निर्दोष लोग मारे गए थे।
Delhi violence matter in Delhi High Court: High Court directs to set up helplines for immediate help for victims, private ambulances to be provided for safe passage of victims. Court also directs set up of shelters for rehabilitation along with basic facilities. https://t.co/Z08ji92G32
— ANI (@ANI) February 26, 2020
मुआवजा दे सरकार
हाई कोर्ट ने पीड़ितों के लिए तत्काल एक हेल्प लाइन नंबर जारी करने को कहा है। इसके साथ ही जो लोग घायल है उनके लिए एम्बुलेंस की व्यवस्था करने का निर्देश दिया है और हिंसा में पीड़ित लोगों को दिल्ली सरकार से मुआवजा भी सुनिश्चित करने को कहा है। हिंसा प्रभावित क्षेत्रों में सेना की तैनाती की दलील पर, कोर्ट ने कहा की अभी हमे FIR दर्ज करने के मुद्दे पर ध्यान देना चाहिए।
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हिंसा में 22 लोगों ने गवाई जान
दिल्ली में मौजपुर, जाफराबाद , करदमपुरी, चांद बाग,भजनपुरा,कयावल नगर और दयालपुर आदि में हिंसक प्रदर्शन हुए। जिनमे आम लोगों के साथ पुलिस वाले भी घायल हुए और एक हेड कॉन्स्टेबल व IB ऑफिसर की जान चली गयी थी। प्रदर्शनों को देखते हुए कई मेट्रो स्टेशन को बंद कर दिया गया था। गृह मंत्री की मीटिंग के बाद देर शाम पुलिस को निर्देश दिया गया की दंगाईयों को देखते ही गोली मर दी जाये। इस आदेश के बाद दिल्ली पुलिस एक्शन में आ गयी और जैम किये गए मार्गों को खाली करा लिया व जिन इलाकों में हिंसा हुई वहां पर अनाउसमेंट करा दिया गया की उपद्रव करने की कोशिश न करे नहीं तो सख्त कार्यवाही होगी।